हमारे बारे में
एनएसकेएफडीसी विभिन्न ऋण एवं गैर ऋण आधारित योजनाओं को क्रियान्वयन कर रहा है। ऋण आधारित योजनाओं के अंतर्गत एनएसकेएफडीसी सफाई कर्मचारियों, स्वच्छकारों एवं उनके आश्रितों को आय अर्जित करने वाली वैध योजनाओं जिसमें स्वच्छता आधारित गतिविधियां तथा भारत एवं विदेश में शिक्षा हेतु वित्तीय सहायता प्रदान करता है।
गैर-ऋण आधारित योजनाओं के अंतर्गत एनएसकेएफडीसी कौशल विकास कार्यक्रम के लिए शत प्रतिशत अनुदान प्रदान करता है एवं रू.1500/- प्रतिमाह स्टाईफंड प्रत्येक उम्मीदवार को दिया जाता है एवं रू.50,000/- रोजगार मेले, रू.30,000/- जागरूकता शिविर एवं रू.25,000/- कार्यशालाओं के लिए प्रदान करता है।
एनएसकेएफडीसी की योजनाओं का क्रियान्वयन विभिन्न राज्य माध्यम अभिकरणों (एस.सी.एज.) जिनका नामांकन राज्य सरकारों/संघ शासित प्रदेश सरकारों द्वारा किया जाता है, क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों (आर.आर.बी.) एवं कुछ राष्ट्रीयकृत बैंकों के माध्यम से किया जाता है।
एससीएज/आर.आर.बी./राष्ट्रीयकृत बैंकों को वित्तीय सहायता रियायती दरों पर दी जाती है ताकि वे इसे लक्षित समूह को वितरित कर सकें।
एनएसकेएफडीसी ने महात्मा गांधी जी की जयंती 2 अक्तूबर, 2014 पर स्वच्छता उद्यमी योजना - ‘‘स्वच्छता से सम्पन्नता की ओर’’ का शुभारम्भ किया। इस योजना के तहत लक्षित समूह को भुगतान और उपयोग आधारित समुदाय शौचालयों का सार्वजनिक निजी भागीदारी (पीपीपी) मोड में निर्माण हेतु एवं संचालन और रखरखाव एवं स्वच्छता से संबंधित वाहनों की खरीद हेतु वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। इस योजना के दोहरे उद्देश्य हैं पहला स्वच्छता एवं दूसरा सफाई कर्मचारियों एवं मुक्त मैनुअल स्केवेंजरों को जीवन यापन उपलब्ध कराना है ताकि माननीय प्रधान मंत्री जी के द्वारा आरम्भ ‘स्वच्छ भारत अभियान’ के समग्र लक्ष्य को प्राप्त किया जा सके।
‘स्वच्छ भारत अभियान’ की तर्ज पर पर ही एनएसकेएफडीसी ने एक अन्य योजना सैनेट्री मार्ट आरम्भ की। इस योजना के तहत लाभार्थियों को सैनेट्री मार्ट जो स्वच्छता एवं सेनीटेशन की सभी वस्तुओं के लिए एक विशेष दुकान होती है, को आरम्भ करने के लिए रियायती दरों पर वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है।
जलवायु परिवर्तन की समस्या को ध्यान में रखते हुए एनएसकेएफडीसी ने हरित व्यवसाय योजना का आरम्भ किया है ताकि ऐसी गतिविधियां, जोकि जलवायु परिवर्तन से निपट सकें एवं आय अर्जित करने वाली भी हों, को प्रोत्साहित किया जा सके। इस योजना के तहत उन गतिविधयों, जोकि जलवायु परिवर्तन से निपट सकें एवं आय अर्जित करने वाली भी हों के लिए रियायाती दरों पर वित्तीय सहायता पदान की जाती है। इस योजना के तहत ग्रीन हाउस प्रभाव को संरक्षित करने वाली आय एवं अर्जित करने वाली गतिविधयों या अनुकूलन की पहल के अतर्गत वर्गीकृत योजनाओं को कवर किया जाता है।
एनएसकेएफडीसी ने स्थापना से 30.11.2020 तक रू. 2057.31 करोड का वितरण 397535 लाभार्थियों को लाभान्वित करने के लिए किया है। योजनावार विवरण इस प्रकार से हैः -
गैर-ऋण आधारित योजनाओं के अंतर्गत एनएसकेएफडीसी कौशल विकास कार्यक्रम के लिए शत प्रतिशत अनुदान प्रदान करता है एवं रू.1500/- प्रतिमाह स्टाईफंड प्रत्येक उम्मीदवार को दिया जाता है एवं रू.50,000/- रोजगार मेले, रू.30,000/- जागरूकता शिविर एवं रू.25,000/- कार्यशालाओं के लिए प्रदान करता है।
एनएसकेएफडीसी की योजनाओं का क्रियान्वयन विभिन्न राज्य माध्यम अभिकरणों (एस.सी.एज.) जिनका नामांकन राज्य सरकारों/संघ शासित प्रदेश सरकारों द्वारा किया जाता है, क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों (आर.आर.बी.) एवं कुछ राष्ट्रीयकृत बैंकों के माध्यम से किया जाता है।
एससीएज/आर.आर.बी./राष्ट्रीयकृत बैंकों को वित्तीय सहायता रियायती दरों पर दी जाती है ताकि वे इसे लक्षित समूह को वितरित कर सकें।
एनएसकेएफडीसी ने महात्मा गांधी जी की जयंती 2 अक्तूबर, 2014 पर स्वच्छता उद्यमी योजना - ‘‘स्वच्छता से सम्पन्नता की ओर’’ का शुभारम्भ किया। इस योजना के तहत लक्षित समूह को भुगतान और उपयोग आधारित समुदाय शौचालयों का सार्वजनिक निजी भागीदारी (पीपीपी) मोड में निर्माण हेतु एवं संचालन और रखरखाव एवं स्वच्छता से संबंधित वाहनों की खरीद हेतु वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। इस योजना के दोहरे उद्देश्य हैं पहला स्वच्छता एवं दूसरा सफाई कर्मचारियों एवं मुक्त मैनुअल स्केवेंजरों को जीवन यापन उपलब्ध कराना है ताकि माननीय प्रधान मंत्री जी के द्वारा आरम्भ ‘स्वच्छ भारत अभियान’ के समग्र लक्ष्य को प्राप्त किया जा सके।
‘स्वच्छ भारत अभियान’ की तर्ज पर पर ही एनएसकेएफडीसी ने एक अन्य योजना सैनेट्री मार्ट आरम्भ की। इस योजना के तहत लाभार्थियों को सैनेट्री मार्ट जो स्वच्छता एवं सेनीटेशन की सभी वस्तुओं के लिए एक विशेष दुकान होती है, को आरम्भ करने के लिए रियायती दरों पर वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है।
जलवायु परिवर्तन की समस्या को ध्यान में रखते हुए एनएसकेएफडीसी ने हरित व्यवसाय योजना का आरम्भ किया है ताकि ऐसी गतिविधियां, जोकि जलवायु परिवर्तन से निपट सकें एवं आय अर्जित करने वाली भी हों, को प्रोत्साहित किया जा सके। इस योजना के तहत उन गतिविधयों, जोकि जलवायु परिवर्तन से निपट सकें एवं आय अर्जित करने वाली भी हों के लिए रियायाती दरों पर वित्तीय सहायता पदान की जाती है। इस योजना के तहत ग्रीन हाउस प्रभाव को संरक्षित करने वाली आय एवं अर्जित करने वाली गतिविधयों या अनुकूलन की पहल के अतर्गत वर्गीकृत योजनाओं को कवर किया जाता है।
एनएसकेएफडीसी ने स्थापना से 30.11.2020 तक रू. 2057.31 करोड का वितरण 397535 लाभार्थियों को लाभान्वित करने के लिए किया है। योजनावार विवरण इस प्रकार से हैः -
क्र.सं. | योजना | स्थापना से अबतक सकल वितरण | |
---|---|---|---|
लाभार्थियों की संख्या | राशि (करोड रू. में) | ||
1. | मियादी ऋण योजना | 110554 | 1187.74 |
2. | महिला अधिकारिता योजना | 16491 | 100.40 |
3. | महिला समृद्धि योजना | 137699 | 375.18 |
4. | लघु ऋण योजना | 129217 | 268.50 |
5. | शिक्षा ऋण योजना | 329 | 11.07 |
6. | हरित व्यसाय योजना | 1035 | 10.92 |
7. |
स्वच्छता उद्यमी योजना क. राज्य माध्यम अभिकरण ख. शहरी स्थानीय निकाय |
1798 | 65.39 |
247 | 31.96 | ||
8. | सैनेट्री मार्ट योजना | 165 | 6.15 |
योग | 397535 | 2057.31 |